हिमवंती मीडिया/मई
माह में काफी बारिष होने पर मषोबरा ब्लॉक के निचले क्षेत्रों में किसानों ने मक्की की बुआई का कार्य आरंभ कर दिया गया है। अधिकांष किसान बैंलों की मदद से और कुछ पॉवर टिल्लर से बुआई कर रहे हैं । हालांकि किसानों का रूझान नकदी फसलों के उत्पादन की ओर काफी बढ़ गया है। इसके बावजूद भी किसान अपने गुजारे योग्य पारंपरिक फसलों का उत्पादन करते हैं। इस बार कृषिश विभाग मषोबरा ने किसानो को मक्का का उत्तम किस्म का बीज अनुदान पर उपलब्ध करवाया गया है। जिसमें मुख्यतः सिंगल क्रॉस किस्म बी 52 गोल्ड, मक्का के सुपर , हाईब्रिड कॉर्न 9784 और मक्का पीजी 2442 किस्म के बीज षामिल हैं।
प्रगतिषील किसान प्रीतम ठाकुर, अतर सिंह ठाकुर सहित अनेक किसानों ने बताया कि बैंलों के द्वारा अच्छी बुआई की जाती है जिसमें बीज को लाईन में डाला जाता है जबकि टिल्लर के माध्यम से छटटे से बिजाई होती है जोकि इनकी लाभदायक नहीं पाई जाती है। इनका कहना है कि नकदी फसलों के कारण पारंपरिक फसलों का प्रचलन कम हो गया है जबकि अतीत में किसान पूरे वर्ष भर के लिए खाद्यान्न उगाते थे। उप निदेषक कृषि विभाग षिमला डॉ0 अजब नेगी ने बताया कि जिला के केवल मषोबरा, बसंतपुर और टूटू ब्लॉक में मक्का का उत्पादन किया जाता है जबकि अन्य ब्लॉक में लोग केवल भुटटे के लिए थोड़ी बहुत मक्की की बीजाई करते है। उन्होने बताया कि इस वर्षश् किसानों को विभिन्न किस्म का मक्का बीज 113 क्विंटल उपलब्ध करवाया गया जिस पर 20 प्रति किलोग्राम अनुदान दिया गया।
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